Pui
Author:
Rahul SrivastavaPublisher:
Rajkamal Prakashan SamuhLanguage:
HindiCategory:
Short-story-collections0 Reviews
Price: ₹ 200
₹
250
Available
राहुल की विशिष्ट बात ये है कि वे निहायत ही निजी अनुभव और दृष्टिकोण से कहानियाँ लिखते हैं पर उनकी कहानियाँ उस व्यापकता तक जाती हैं जहाँ पाठक न सिर्फ़ अपने जीवन का अंश देख पाते हैं बल्कि अपने व्यक्तिगत जीवन की सचाई से भी रू-ब-रू हो जाते हैं। पहले मैंने राहुल को सिर्फ़ एक फ़िल्म सम्पादक और निर्देशक की तरह जाना था जिसमें ‘इकोनॉमी ऑफ़ एक्सप्रेशन’ की कमाल की समझ है। पर अब मैं राहुल की उस हिम्मत से बहुत प्रभावित हूँ, जिससे उसने अपने अन्तर्मन को सचाई से टटोला और अपने दर्द, अपने ग़ुस्से, अपनी यादों और अपने अपराधबोध तक को शब्दों में ढालकर दुनिया के सामने रख दिया। मैंने लगभग सभी कहानियों में उस छोटे से पत्थर को महसूस किया जो चोट नहीं देना चाहता पर ठहरे हुए पानी में हलचल पैदा कर देता है।</p>
<p>‘चूहे’ की हिंसा सिर्फ़ एक घर की नहीं बल्कि समाज में फैली व्यापक हिंसा की तरफ खुलकर इशारा करती है। ‘पुई’ और ‘टर्मिनल-1' पढ़कर मैं उस दर्द को महसूस कर रहा था जिसे राहुल ने शब्द और जीवन दिया है। राहुल की भाषा अत्यन्त साधारण होते हुए भी उस ईमानदारी से भरी है जिसे पढ़कर मैं थोड़ा विचलित हो गया। ऐसा शायद इसलिए हुआ कि मैं ख़ुद को आईने में देख रहा था और सचाई को देखकर मुझे एक भय-सा महसूस हुआ। इस तरह की भाषा की बानगी देखकर मैं यही सोच रहा हूँ कि राहुल की आने वाली कहानियाँ कैसी होंगी। मुझे विश्वास है कि हम भविष्य के एक ऐसे लेखक को पढ़ रहे हैं जिसकी लेखनी से बहुत कुछ महत्त्वपूर्ण लिखा जाने वाला है।</p>
<p>—सईद अख़्तर मिर्ज़ा
ISBN: 9788119996643
Pages: 168
Avg Reading Time: 6 hrs
Age: 18+
Country of Origin: India
Recommended For You
Akbar Birbal Ki Anokhi Duniya
- Author Name:
Ashok Maheshwari
- Book Type:

- Description: अकबर विनोदप्रिय शासक था। मनोरंजन और ज़िन्दादिली का मुरीद। बीरबल का बुद्धिबल तीव्र था। वह समझ लेता था कि बादशाह अकबर की किस भंगिमा का क्या अर्थ है, और बीरबल अकबर की भंगिमा के अनुरूप अपने आपको ढाल लेता था। इसी विशेषता के कारण बीरबल अकबर का सखा बन गया था। अपनी तेज बुद्धि, मनोरंजक बातें, सूझ-पूर्ण ढंग से समस्याओं को सुलझाने और समयानुकूल निर्णय लेने की दक्षता के कारण बीरबल ने अकबर के दरबार में ही नहीं, बल्कि उसके जीवन और मन में भी स्थान बना लिया था। समय के साथ बीरबल और अकबर के क़िस्से मशहूर होने लगे। अपनी रोचकता, मनोरंजन की क्षमता और हाज़िरजवाबी की मिसाल होने के कारण इन क़िस्सों ने तब से लेकर अब तक की लम्बी यात्रा की है और आज भी रोचकता और आकर्षण का केन्द्र बने हुए हैं। अकबर और बीरबल के विविध प्रसंगों को लेकर कही गई ये कहानियाँ जहाँ पाठकों का मनोरंजन करती हैं, वहीं उन्हें समयानुकूल आचरण करने के लिए प्रेरित भी करती हैं।
Woh Duniya
- Author Name:
Yashpal
- Book Type:

-
Description:
यशपाल के लेखकीय सरोकारों का उत्स सामाजिक परिवर्तन की उनकी आकांक्षा, वैचारिक प्रतिबद्धता और परिष्कृत न्याय-बुद्धि है। यह आधारभूत प्रस्थान बिन्दु उनके उपन्यासों में जितनी स्पष्टता के साथ व्यक्त हुए हैं, उनकी कहानियों में वह ज़्यादा तरल रूप में, ज़्यादा गहराई के साथ कथानक की शिल्प और शैली में न्यस्त होकर आते हैं। उनकी कहानियों का रचनाकाल चालीस वर्षों में फैला हुआ है। प्रेमचन्द के जीवनकाल में ही वे कथा-यात्रा आरम्भ कर चुके थे, यह अलग बात है कि उनकी कहानियों का प्रकाशन किंचित् विलम्ब से आरम्भ हुआ। कहानीकार के रूप में उनकी विशिष्टता यह है कि उन्होंने प्रेमचन्द के प्रभाव से मुक्त और अछूते रहते हुए अपनी कहानी-कला का विकास किया। उनकी कहानियों में संस्कारगत जड़ता और नए विचारों का द्वन्द्व जितनी प्रखरता के साथ उभरकर आता है, उसने भविष्य के कथाकारों के लिए एक नई लीक बनाई, जो आज तक चली आ रही है। वैचारिक निष्ठा, निषेधों और वर्जनाओं से मुक्त न्याय तथा तर्क की कसौटियों पर खरा जीवन—ये कुछ ऐसे मूल्य हैं जिनके लिए हिन्दी कहानी यशपाल की ऋणी
है।‘वो दुनिया!’ कहानी-संग्रह में उनकी ये कहानियाँ शामिल हैं : ‘संन्यासी’, ‘दो मुँह की बात’, ‘बड़े दिन का उपहार’, ‘दूसरी नाक’, ‘मोटरवाली-कोयलेवाली’, ‘तूफान का दैत्य’, ‘कुत्ते की पूँछ’, ‘शिकायत’; ‘गुडबाई’, ‘दर्दे-दिल!’, ‘जहाँ हसद नहीं’, ‘नई दुनिया और वो दुनिया’।
Seeta Se Shuru
- Author Name:
Navnita Devsen
- Book Type:

-
Description:
‘सीता से शुरू...’ महज़ कथा–प्रवाह ही नहीं है। इस विविध कथा–चित्र का एक छोर पौराणिक काल से बँधा है; दूसरा, मातृसत्तात्मक परिवार से और अन्त में, वर्तमान समय के आधुनिक मूल्यबोध से जुड़ा है। कुल मिलाकर, औरत की ज़िन्दगी के आदि–मध्य–अन्त के पर्वों की अन्तर्कथा!
नवनीता देव सेन की हर कृति का प्रसाद गुण सरस–गम्भीर स्थापन पाठकों को मुग्ध करता है। प्रस्तुत कथा–संग्रह औरत के अन्तर्मन और जीवन का बयान है। ये औरताना कहानियाँ नहीं हैं, औरत की कहानियाँ हैं। लेखिका ने अखंड काल–क्रम में साँस लेती हुई औरत के अनन्त दु:ख, शाश्वत व्यक्तित्व और समकालीन जटिलताओं की राह पर उसकी अभियान–कथा को क़लमबन्द किया है। लेखिका के शब्दों में—‘सीता से शुरू की गई यात्रा’, वर्तमान युग में, आधुनिक औरत को अपने ही कटघरे में ला खड़ा करती है। इस कथा का पहला पर्व है—पौराणिकी और तीसरा पर्व है आधुनिकी। लेकिन मध्यवर्ती पर्व मातृयार्की के इर्द–गिर्द बुना गया है—यानी, मातृयार्की माँ से याराना। अपनी माँ के बारे में हँसी–ख़ुशी से झलमल ऐसे उपाख्यान विरल हैं। कल्पना और वास्तविकता के मणिकांचन संयोग से ये कहानियाँ शाश्वत सत्य के अमृत–मंत्र की साक्षी बन गई हैं।
Kahni Upkhan
- Author Name:
Kashinath Singh
- Book Type:

-
Description:
सुप्रसिद्ध कथाकार काशीनाथ सिंह पिछले चालीस वर्षों से हिन्दी कथा में सक्रिय और तरो-ताज़ा हैं। उन्होंने अपने लेखन के ज़रिए पाठकों की नई जमात तैयार की है—युवाओं की जमात ‘अपना मोर्चा’ लिखकर और साहित्य से कोई सरोकार न रखनेवाले सामान्य पाठकों के संस्मरण और ‘काशी का अस्सी’ लिखकर। लेकिन ऊपर से आरोप यह कि उन्होंने साहित्य की कुलीनता की धज्जियाँ उड़ाई हैं। इसके एवज़ में उन्होंने गालियाँ भी खाई हैं, उपेक्षाएँ भी झेली हैं और ख़तरे भी उठाए हैं। यह यों ही नहीं है कि कथा-कहानी में आनेवाली हर युवा पीढ़ी काशी को अपना समकालीन और सहयात्री समझती रही है। ऐसा क्यों है—यह देखना हो तो कहनी उपखान पढ़ना चाहिए।
कहनी उपखान काशी की सारी छोटी-बड़ी कहानियों का संग्रह है—अब तक की कुल जमा-पूँजी। मात्र चालीस कहानियाँ। देखा जाना चाहिए कि वह कौन-सी ख़ासियत है कि इतनी-सी पूँजी पर काशी लगातार कथा-चर्चा में बने रहे हैं और आलोचकों के लिए भी ‘अपरिहार्य’ रहे हैं।
काल और काल से छेड़छाड़ और मुठभेड़—पहचान है काशी की कहानियों की। काल के केन्द्र में है सामाजिक और आर्थिक विसंगतियों से घिरा आदमी—कभी अकेले, कभी परिवार में, कभी समाज में। इस आदमी से मिलना यानी कहानियों को पढ़ना हरी-भरी ज़िन्दगी के बीच चहलक़दमी करने जैसा है। न कहीं बोरियत, न एकरसता, न मनहूसियत, न दुहराव। उठने-गिरने, चलने-फिरने, लड़ने-हारने में भी हँसी-ठट्ठा और व्यंग्य-विनोद। ज़िन्दादिली कहीं भी पाठक का साथ नहीं छोड़ती। जियो तो हँसते हुए, मरो तो हँसते हुए—यही जैसे जीने का नुस्खा हो पात्रों के जीवन का।
जैसे-जैसे ज़़िन्दगी बदली है, वैसे-वैसे काशी की कहानी भी बदली है—अगर नहीं बदला है तो कहानी कहने का अन्दाज़। जातक, पंचतंत्र और लोकप्रचलित कथाशैलियाँ जैसे उनके कहानीकार के ख़ून में हैं। कई कहानियाँ तो चौपाल या अलाव के गिर्द बैठकर सुनने का सुख देती हैं।
आइए, वह सुख आप भी लीजिए ‘कहनी उपखान’ पढ़कर। कहनी (कहानी) और उपखान (उपाख्यान) कहकर तो काशी ने लिया है, आप भी लीजिए पढ़कर, क्योंकि काशी को पढ़ना ही सुनना है।
Nibandh Evam Kahaniyan
- Author Name:
Anjum sharma
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Jahangir Ki Swarnamudra
- Author Name:
Satyajit Ray
- Book Type:

-
Description:
‘जहाँगीर की स्वर्णमुद्रा’ सुविख्यात फ़िल्म-निर्देशक और बांग्ला लेखक सत्यजित राय की बारह कहानियों का महत्त्वपूर्ण संग्रह है।
सत्यजित राय विरल कथा-स्थितियों और मानव-जीवन की विविधता के चितेरे हैं। देशकाल का परिवेश इस चित्रण में एक विराट फलक का कार्य करता है और उनकी अनुभव-सम्पन्न जीवन-दृष्टि विविध रंगों का। एक ऐसा समाज इन कहानियों में बराबर दिखाई देता है, जिसमें विभिन्न प्रकार की आशंकाएँ, कुंठाएँ और अन्तर्विरोध मानव-जीवन को प्रभावित-परिचालित करते हैं। फिर भी उनका मनुष्य कहीं हारता नहीं। ठगा जाकर भी ठगने की कोशिश नहीं करता और मानव-मूल्यों के प्रति एकनिष्ठ बना रहता है। यही कारण है कि वर्तमान व्यावसायिक सभ्यता से शोषित-प्रताड़ित होने के बावजूद कहीं-कहीं तो वह नैतिक प्रतिरोध की शक्ल अख़्तियार करता दिखाई देता है।
राय के कथा-लेखन की कुछ और विशेषताओं से भी ये कहानियाँ परिचित कराती हैं। मसलन, स्थितियों की निस्संग रहस्यात्मकता, व्यंग्य-विनोद का महीन पुट और शिल्पगत नाटकीयता। संक्षेप में कहा जाए तो हिन्दी पाठकों के लिए ये कहानियाँ एक अलग तरह का अनुभव-संसार सँजोए हुए हैं।
Sampurna Kahaniyan : Raghuvir Sahay
- Author Name:
Raghuvir Sahay
- Book Type:

-
Description:
रघुवीर सहाय अप्रतिम कवि थे। विचार की ठोस और स्पष्ट ज़मीन पर पैर रखे हुए उन्होंने अपने कवि को एक बड़ा आकाश दिया। जिसे आनेवाले समय में एक शैली बन जाना था। यह नवोन्मेष उनकी कहानियों में भी था, इससे कम लोग परिचित हैं। इस संकलन में उपस्थित उनकी समग्र कथा-सम्पदा के पाठ से हम जान सकते हैं कि कविता में जिस वृहत्तर सत्य को अंकित करने का प्रयास वे करते थे, वह किसी फ़ॉर्म को साधने-भर का उपक्रम न था, अपने अनुभव और उसकी सम्पूर्ण अभिव्यक्ति की व्याकुलता थी जो उन्हें अन्य विधाओं तक भी ले जाती थी।
इस पुस्तक में संकलित उनके कथा-संग्रहों के साथ प्रकाशित दो भूमिकाएँ एक बड़े रचनाकार के बड़े सरोकारों का पता देती हैं, जिनमें एक चिन्ता लेखन के उद्देश्य को लेकर भी है। वे कहते हैं कि मनुष्यों के परस्पर सम्बन्धों को बार-बार जानने और जाँचने की आवश्यकता ही लेखन की सबसे ज़रूरी वजह है। कुछ तत्त्व हमेशा काम करते रहते हैं जिनके राजनीतिक उद्देश्य समता और न्याय के विरुद्ध होते हैं, वे संगठित होकर लेखक द्वारा बताए सत्य को विकृत कर प्रचारित किया करते हैं। लेखक के लिए बार-बार अपने मत को बताना इस आक्रमण के विरुद्ध आवश्यक होता है। रघुवीर सहाय की कविताएँ अपनी काया का निरन्तर अतिक्रमण करते हुए यही कार्य हमेशा करती रहीं; और ये कहानियाँ भी वही करती हैं।
Katha Saptak - Zakiya Zubairee
- Author Name:
Zakiya Zubairee
- Book Type:

- Description: Description Awaited
Wah Bhayanak Raat
- Author Name:
Sharatchandra Chatopadhyay
- Book Type:

- Description: वह भयानक रात बांग्ला के महान कथाशिल्पी शरत् चन्द्र की ऐसी कहानियों का संग्रह है जो खास तौर से किशोर पाठकों के मनोजगत के अनुकूल हैं। इन कहानियों में साहसिकता और रोमांचकता तो है ही, अपार करुणा और उदात्त प्रेम भी है, जिसके दायरे में मनुष्य ही नहीं, एक उपेक्षित कुत्ता भी शामिल है। सबसे महत्त्वपूर्ण बात यह है कि इन कहानियों के पात्र किसी जादुई दुनिया से नहीं आए हैं, बल्कि ये हमारे आस-पास रहनेवाले लोग हैं, लेकिन इनकी साधारणता में भी ऐसे मानवीय गुणों का समावेश है कि एक बार इनसे परिचित हो जाने पर इन्हें भुला पाना नामुमकिन है।
Mi Amor
- Author Name:
Dr.Nazia Khan +1
- Book Type:

- Description: इश्क़ सबका अलहदा होता है, सबका एक सा हो तो वह इश्क़ के अलावा कुछ भी हो सकता है। इश्क़ मुक़म्मल हो ज़रूरी नहीं, पर रास्ता ख़ुशनुमा होना ज़रूरी होता है। रास्ते में तकलीफ़ें हो सकतीं हैं पर वे तकलीफ़ें अगर चुभें तो इश्क़ नहीं हो सकता। इश्क़ वह कहानी है, जो सबकी है, आपकी, मेरी हर किसी की, पर सबकी कहानी एक सी लगते हुए भी अलग अलग है। ऐसे ही कुछ अफ़सानों को बुना गया है इस किताब में जो इश्क़ का रास्ता दिखाती हैं। सदियां भी कम है इस अनमोल और जटिल भाव "प्रेम" को समझने के लिए, हम कहाँ सदियों तक जी सकते थे, इसलिये जितना समझे, उतना आप पाठकों तक पहुंचाने की कोशिश की है। चलिये हमारे साथ प्रेम की इस यात्रा पर।
Gauri
- Author Name:
Subhadra Kumari Chauhan
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Kahaniyan Rishton Ki : Bade-Bujurg
- Author Name:
Akhilesh
- Book Type:

- Description: बड़े-बुज़़ुर्ग कहते ही कुछ ऐसा लगता है जैसे जीवन की मुख्यधारा से चुपचाप किनारे होता कोई व्यक्ति। लेकिन उम्र का चढ़ते जाना जीवन के अन्त की कातर प्रतीक्षा में बदलना नहीं है। व्यक्ति की लालसाएँ और प्रतीक्षाएँ तो नित नई हमेशा रहती हैं। बुज़ुर्गों को अक्सर अपने पुराने दिनों से भी एक लड़ाई लड़नी पड़ती है। अपनी आदतों से, दूसरों की अपेक्षाओं से और सबसे ज़्यादा अपनी कमज़ोर पड़ती सामर्थ्य और हैसियत से। लेकिन यह जीवन का सत्य है। इसका साक्षात्कार इस दस्तावेज़ी संकलन की कहानियों में संवेदनात्मक स्तर पर होगा जिससे पाठक बड़े-बुज़ुर्गों के प्रति अपने भीतर एक अलग तरह की कोमलता का अनुभव करेगा।
Download Hote Hain Sapne
- Author Name:
Geeta Shree
- Rating:
- Book Type:

- Description: collection of stories
Syahi mein Surkhab Ke Pankh
- Author Name:
Alpana Mishra
- Book Type:

-
Description:
अल्पना मिश्र की कथा-क्षमता विवरण-बहुलता में वास्तविकता के और-और क़रीब जाने की कोशिश में दिखाई देती है, जिसमें वे एक कुशल शिल्पी की तरह सफल होती हैं। उनकी कहानियों में कहीं भी शाब्दिक चमत्कार से कथ्य अथवा दृष्टि के अभाव को पूरा करने की न मजबूरी दिखाई देती है, न चालू मुहावरे का कोई ऐसा दबाव कि वे जीवन-स्थितियों के सच से अपनी पकड़ को ज़रा भी ढीली करें।
नब्बे के दशक में सामने आए कथाकारों में उन्होंने अपनी एक विशिष्ट जगह बनाई है और लगातार चर्चा में रही हैं। अपने इर्द-गिर्द के संसार में पूरे भरोसे और स्पष्ट आलोचनात्मकता के साथ उतरकर गझिन और कथा-तत्त्व से भरपूर कहानियाँ बुनना उन्होंने जिस तरह सिद्ध किया है, वह भाषा को एक भरोसा देता है।
इस संग्रह में शामिल ‘स्याही में सुर्खाब के पंख’, ‘कत्थई नीली धारियों वाली क़मीज़’, ‘चीन्हा-अनचीन्हा’, ‘सुनयना! तेरे नैन बड़े बेचैन’, ‘राग-विराग’, ‘इन दिनों‘ और ‘नीड़’ कहानियाँ यहाँ पुन: उनके सामर्थ्य की साक्षी के रूप में मौजूद हैं। इन कहानियों को पढ़ते हुए पाठक को वापस यह विश्वास होगा कि बिना किसी आलंकारिकता के जीवन-यथार्थ को विश्वसनीय ढंग से पकड़ना आज के उथले समय में भी सम्भव है।
Abhiyukt, Nishkasan, Visthapit Ityadi-Ityadi
- Author Name:
Raj Mohan Jha
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Bhikshuni
- Author Name:
Shivani
- Book Type:

-
Description:
महिला कथाकारों में जितनी ख्याति और लोकप्रियता शिवानी ने प्राप्त की है, वह एक उदाहरण है श्रेष्ठ लेखन के लोकप्रिय होने का। शिवानी लोकप्रियता के शिखर को छू लेनेवाली ऐसी हस्ती हैं, जिनकी लेखनी से उपजी कहानियाँ कलात्मक और मर्मस्पर्शी होती हैं।
अन्तर्मन की गहरी पर्तें उघाड़नेवाली ये मार्मिक कहानियाँ शिवानी की अपनी मौलिक पहचान हैं जिसके कारण उनका अपना एक व्यापक पाठक वर्ग तैयार हुआ।
इनकी कहानियाँ न केवल श्रेष्ठ साहित्यिक उपलब्धियाँ हैं, बल्कि रोचक भी इतनी अधिक हैं कि आप एक बार शुरू करके पूरी पढ़े बिना छोड़ ही न सकेंगे।
प्रस्तुत संग्रह में ‘तोमार जे दोक्खिन मुख’, ‘ज्यूडिश से जयन्ती’, ‘भिक्षुणी’, ‘मामाजी’, ‘अनाथ’, ‘भूल’, ‘सती’, ‘मौसी’, ‘प्रतीक्षा’ एवं ‘लाटी’ कहानियाँ संकलित हैं। हर कथा अपनी मोहक शैली में अभिभूत कर देने की अपार क्षमता रखती है।
कलात्मक कौशल के साथ रची गईं ये कहानियाँ हमारी धरोहर हैं जिन्हें आज की नई पीढ़ी अवश्य पढ़ना चाहेगी।
Contemporary Indian Short Stories Series I
- Author Name:
Humayun Kabir
- Book Type:

- Description: This sheaf of fifteen short stories represents a cross-section of contemporary Indian Literature. Fourteen of them are translations. One each from fourteen modern languages of India and one is a specimen of Indian creative writing in English. Selected by the Sahitya Akademi's Advisory Boards of various languages, these stories provide fascinating glimpses into the panorama of Indian life, with its baffling variety, its rich contrast of the simple and sophisticated, the ancient and the modern. Here is evidence, if such were needed, that Indian literature is one of a stale uniformity but of a rich variety. This is the first volume of Sahitya Akademi's series of such representative anthologies in English of contemporary indian short stories. Second, third and fourth volume of stories written by different authors have also been published. Prof.Humayun Kabir has farwarded this volume.
Best Indian Short Stories - 1
- Author Name:
Khushwant Singh
- Rating:
- Book Type:

- Description: The Indian short story is extraordinary in its ability to stick to the traditional rules of the craft and still demonstrate remarkable originality. It revolves around a limited number of characters, confines itself in time and space, and has a well-plotted narrative that drives its central theme. Within the traditional framework, however, creativity flowers and a fresh and imaginative story emerges. This volume is chock-full with such stories, written by authors well known in their regional languages as well as those who have made a name for themselves in English literary circles. Carefully selected by India's literary giant, the late Khushwant Singh, these pieces represent the best of Indian writing from around the country.
Murdalok
- Author Name:
Kumar Mithilesh Prasad Singh
- Book Type:

-
Description:
परम्पराएँ, किंवदन्तियाँ और भ्रामक प्रचलित विचारों से मुक्ति दिलाकर समाज को जागरूक, चेतनासम्पन्न और प्रगतिशील धारा से जोड़नेवाला कहानी-संकलन। इस संकलन की हर कहानी की विषयवस्तु का अपना एक धरातल है और हर कहानी अनुभव का एक नया संसार खोलती है। संकलन की कहानियाँ नई दृष्टि, नई सोच को ही प्रतिष्ठापित नहीं करती हैं, बल्कि वैज्ञानिक दृष्टिकोण भी देती हैं। कहानियों के पात्र आम जीवन से उठाए गए हैं जो साधारण जीवन जीते हैं और बहुत से मानदंडों और निषेधों से मुक्त भी
हैं।लेखक ने इनके साथ सदियों से हो रहे जुल्म और अन्याय को भी रेखांकित किया है जो वे सदियों से झेल रहे हैं और उनके लिए एक समतामूलक समाज की आकांक्षा व्यक्त करते हैं। लेखक ने कहानियों को लोकभाषा से अलंकृत कर पात्रों को जीवन्त ही नहीं किया, बल्कि उनकी मर्मभेदी पीड़ा को संवेदनशील अभिव्यक्ति भी दी है। ये कहानियाँ सही और सच्चे अर्थों में साहित्य की उस सार्थक भूमिका का भी निर्वाह करती हैं जिसके तहत साहित्य को समाज का पथप्रदर्शक माना जाता है। समाज के यथार्थ से साक्षात्कार कराते हुए, वर्तमान समाज को बदलने का आह्वान करते हुए सघन संवेदना के धरातल पर सृजित की गई ये कहानियाँ कुरीतियों को पोषित करनेवाले रूढ़िवादी समाज के लिए एक संकेत भी हैं कि अब परिवर्तन आवश्यक नहीं अनिवार्य हो चला है। पाठकगण इन कहानियों के माध्यम से एक नया अर्थ-सन्दर्भ प्राप्त करेंगे।
Mohanaswamy
- Author Name:
Vasudhendra
- Rating:
- Book Type:

- Description: ಸಲಿಂಗಪ್ರೇಮಿ ಮೋಹನಸ್ವಾಮಿಯ ವಿಭಿನ್ನ ಮನಸ್ಥಿತಿಯ ಕತೆಗಳು ಇದರಲ್ಲಿವೆ. ಅದಲ್ಲದೆ ಇತರ ಐದು ವಸುಧೇಂದ್ರರ ಜನಪ್ರಿಯ ಕತೆಗಳೂ ಈ ಸಂಕಲನದಲ್ಲಿವೆ.
Customer Reviews
0 out of 5
Book
Be the first to write a review...