Barsane ki Radha
Author:
Nalin Vilochan SharmaPublisher:
Rajkamal Prakashan SamuhLanguage:
HindiCategory:
Short-story-collections0 Reviews
Price: ₹ 476
₹
595
Unavailable
नलिन विलोचन शर्मा की 13 कहानियों का संग्रह
ISBN: 97881199891012
Pages: 143
Avg Reading Time: 5 hrs
Age: 18+
Country of Origin: India
Recommended For You
Chalo Phir Se Shuroo Karen
- Author Name:
Sudha Om Dhingra
- Book Type:

- Description: अंग्रेज़ी के दो शब्द हैं, जो संबंधों के लिए प्रयोग किए जाते हैं ‘कनेक्ट’ होना और ‘रिलेशन’ होना। परन्तु हम जानते हैं कि हर शब्द का अपना लहज़ा, टोन व संदर्भ तो होता ही है, उसकी अनुभूति भी अलग होती है। यहाँ कनेक्शन से अर्थ, संस्कारों से, भावनाओं से, अपने मूल से जुड़ा होना है, जिसमें वर्षों की दूरी भी कोई अर्थ नहीं रखती जबकि दूसरी ओर रिलेशनशिप में संबंध तब तक रहेगा, जब तक आप चाहें…! इसलिए रिश्तों में कनेक्शन होना चाहिए, रिलेशनशिप तो आती-जाती चीज़ है। ऐसा ही कुछ ‘चलो फिर से शुरू करें’ शीर्षक कहानी में भी देखा जा सकता है। विदेशी महिला से विवाह कर पुत्र माँ-बाप से अलग हो गया। माँ-बाप ने भी उसकी गृहस्थी में दखल देना ठीक न समझ, उससे दूरी बनाना उचित समझा। परन्तु जब उन्हें किसी परिचित द्वारा मालूम हुआ कि मार्था, कुशल को तलाक देकर, बच्चों को उसके पास छोड़ कर चली गई। इतना ही नहीं, वह उसके नाम पर तीन मिलियन का कर्ज़ ले, अपनी माँ के साथ चली गयी। यदि कुशल श्वेत अमेरिकन होता तो मार्था बच्चे साथ ले जाती परन्तु भारतीय अमेरिकन पिता के बच्चों को वह कभी स्वीकार नहीं करेगी। ऐसी मुश्किल स्थिति में कुशल को भुला दिए गए माँ-बाप ही याद आए क्योंकि उसे मालूम था कि उसके माँ-बाप ने उसे कभी भुलाया नहीं होगा। इसलिए उसने अपने पिता को फ़ोन किया और उनके पास अपने बच्चों को छोड़ कर, जीवन में एक नयी शुरूआत करने का संकल्प लिया।
Mirtaatma Ka Geet
- Author Name:
Unita Sachchidanand +3
- Book Type:

- Description: जापान में जब पूँजीवादी औद्योगीकरण की शुरुआत हुई तब समाज का सांस्कृतिक और राजनीतिक ढाँचा तेज़ी से बदलने लगा। पूँजीवादी समाज में विकास के नाम पर हाशिए पर धकेले गए प्रताड़ित लोगों के दु:ख–दर्द को मार्मिक स्पर्श दिया है जापान के तीन प्रगतिवादी लेखकों ने। इनकी सशक्त शैली और वैचारिक सघनता का प्रवाहपूर्ण हिन्दी अनुवाद मूल जापानी स्रोत से किया गया है।
Pratinidhi Kahaniyan : Jogendra Paul
- Author Name:
Jogendra Paul
- Book Type:

- Description: पहली बार मैं जब जोगेंद्र पाल से मिला तो वो ठीक अपनी शक्ल, किरदार और आदतों के एतबार से एक मालदार जौहरी नज़र आया। बाद में मुझे मालूम हुआ कि मेरा कयास ज़्यादा ग़लत भी न था। वो जौहरी तो ज़रूर है, लेकिन हीरे-जवाहरात का नहीं; अफ़सानों का—और मालदार भी लेकिन अपनी कला में। —कृष्ण चंदर। ‘एक परिचय : धरती का काल’ उर्दू कथा-साहित्य में जोगेंद्र पाल अपने रचनात्मक अनुभव के लिए नए-नए महाद्वीप खोजनेवाले कथाकार हैं—चन्द उन कथाकारों में से एक जिन्होंने अपनी आँखें बाहर की ओर खोल रखी हैं और जो अपने दिल के रोने की आवाज़ पर भी कान धरते हैं...। —डॉ. अनवर सदीद ‘औरक़ लाहौर’ जोगेंद्र पाल के यहाँ कहानी बयान नहीं होती, बल्कि सामने ज़िन्दगी के स्टेज पर घटित होती है। उनके चरित्र उस स्टेज से निकलकर हमारे हवास के इतने क़रीब आ जाते हैं कि हमें अपने वजूद में उनकी साँसों का उतार-चढ़ाव महसूस होता है...। — डॉ. कमर रईस ‘जोगेंद्र अपल : फ़न और शख़्सियत’ जोगेंद्र पाल ने मुर्दा लफ़्ज़ों को नई ज़िन्दगी अता करने की तख़्लीक़ी (रचनात्मक) कोशिश की है; उनमें आदम बू पैदा की है। उनकी रचनात्मक भाषा जानने की ज़ुबान नहीं, जीने की ज़ुबान है। —निजाम सिद्दीकी
Mansarovar Vol. 5 : Lottery Aur Anya kahaniyan
- Author Name:
Premchand
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Dahan (lok)
- Author Name:
Manoj Rupada
- Book Type:

-
Description:
मनोज रूपड़ा की कहानियाँ बाजदफे आपके पढ़ने की गति को धीमा करती हैं। ऐसा गत्यावरोध संरचनात्मक स्तर पर किन्हीं भारी-भरकम, क्लिष्ट वाक्य-विन्यास से प्रसूत नहीं, न ही अर्थागम के स्तर पर ही। बात दरअसल कुछ और है। एक बार शुरू करने के बाद आप उन्हें जल्दी खत्म नहीं करना चाहते, खत्म करने से डरते हैं। मनोज के यहाँ आपके वे बिसराये पाप बसर करते हैं, आपके मानस तक जिनकी अवैध आमद बस सपनीले साँवले में ही सम्भव है। मनोज में उन गोपनीय पापों को उनकी नंगी संपूर्णता में रखने का माद्दा है। वस्तुतः मनोज की दो पंक्तियों की सन्ध में सरगोशी करते आपके अतीत के ऐसे पाप ही आपकी पढ़त को बारहाँ बाधित करते हैं।
मनुष्य का यही 'बेसिक इंस्टिंक्ट' मनोज की कहानियों का मूलाधार है। यही मनोज के नायकों को आहत करता है, उन्हें दर-ब-दर करता है, तोड़कर पुनर्नवा - 'रीकंस्ट्रक्ट' और 'रिन्यू' करता है। मनोज अपने नायकों के व्यक्तित्व व उनके अहं को बड़ी निर्ममता से विखंडित करते हैं। वे इसे प्रलय के स्तर तक ले जाते हैं, किन्तु वहाँ से लौटते हुए उनका अनाहत अहं सर्जना के उरूज पर प्रतिष्ठित होता है।
मनोज इस हारे हुए समय में मनुष्य की विजय के इकलौते स्मारक हैं। सँभालकर-सँजोकर रखे जाने वाले कथाकार। कयामत से पहले इनकी कहानियों को बचाकर रख लेना चाहिए, ये अगली दुनिया के निर्माण का ब्लूप्रिंट हैं।
Muthbher
- Author Name:
Dhruv Gupt
- Book Type:

-
Description:
सुपरिचित कवि, ग़ज़लगो तथा सम्पादक ध्रुव गुप्त का कहानी के क्षेत्र में आगमन एक सुखद घटना है। ‘मित्र’ में प्रकाशित उनकी कहानी ‘नाच’ ने विषय के चयन, कथा गठन के कौशल, कथा की ज़मीनी पकड़ और भाषा की जीवन्तता के कारण मुझे आश्चर्यचकित किया था। इस दौरान कुछ अन्य पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित उनकी कहानियाँ भी नई ज़मीन तोड़ती हुई प्रतीत हुईं।
‘मुठभेड़’ ध्रुव गुप्त का पहला कहानी-संग्रह है, लेकिन हाथ के नएपन का एहसास इन कहानियों में कहीं नहीं। पेशे से पुलिस अधिकारी ध्रुव गुप्त ने अपने अनुभव संसार की प्रखरता को अपने कवि मन की संवेदनशीलता और काव्यात्मक भाषा में ढालकर अपनी कहानियों को निखारा और एक नया स्वाद प्रदान किया है। इन कहानियों में हमारे समय का यथार्थ पूरे तीखेपन के साथ व्यक्त हुआ है। संग्रह की प्रायः सभी कहानियाँ हमारे मन में एक टीस पैदा करती हैं। व्यवस्था की बदतरी और सामाजिक विकृतियों के प्रति हमें सजग बनाती हैं। हमें सोचने को बाध्य करती हैं।
इस संग्रह की पाँच कहानियाँ पुलिस ज़मीन की कहानियाँ हैं जो कथाकार का अनुभव जगत भी है। ‘मुठभेड़’ में जब माहौल की विसंगतियाँ एक संवेदनशील पुलिस अधिकारी को अमानवीय बनाती हैं तो सचमुच मन कचोट कर रह जाता है। यह बाहरी संघर्ष की ही नहीं, आन्तरिक संघर्ष की भी कथा है। इसी तरह ‘हत्यारा’ और ‘कांड’ कानूनी दाव-पेच के कारण न्याय न दिला पाने की एक संवेदनशील पुलिस अधिकारी की आन्तरिक पीड़ा को बेहद मर्मस्पर्शी तरीक़े से व्यक्त करती हैं।
‘समय और समाज का सच तथा संवेदना का नया आख्यान’ मेरी समझ से कहानियों की कसौटी है। ध्रुव गुप्त की कहानियाँ निःसन्देह इस कसौटी पर खरी उतरती हैं।
—मिथिलेश्वर
Pratinidhi Kahaniyan : Arun Prakash
- Author Name:
Arun Prakash
- Book Type:

- Description: साहित्य के मौजूदा दौर में पाठ-सुख वाली कहानियाँ कम होती जा रही हैं। इस संकलन की कहानियों में पाठ-सुख भरपूर है। लेकिन यह सुख तात्कालिक नहीं है बल्कि ये निर्विवाद कहानियाँ देर तक स्मृति में बनी रहती हैं। लोकप्रियता और विचार-केन्द्रित कथा का मिज़ाज मुश्किल से मिलता है, पर इन कहानियों में यह सुमेल इसलिए सम्भव हो पाया, क्योंकि यहाँ पाठकों के प्रति गम्भीर सम्मान है। ये कहानियाँ पाठकों को उपभोक्ता नहीं, सहभोक्ता; श्रोता नहीं, संवादक बनने का अवसर देती हैं। इनमें विचार उपलाता नहीं, अन्तर्धारा की तरह बहता है, क्योंकि यह सृजन पाठक-लेखक सहभागिता पर टिका है। युग की प्रमुख आवाज़ों को सुरक्षित रखना इतिहास की ज़िम्मेवारी है, छोटी-छोटी अनुगूँजों को सहेजना साहित्य की। मनुष्य विरोधी मूल्यों, सत्ताओं और संगठित संघर्षों की बड़ी उपस्थिति के बावजूद लघु, असंगठित और प्राय: व्यक्तिगत संघर्षों की बड़ी दुनिया है। इन कहानियों में उसी की अनुगूँजें हैं। ये कहानियाँ किसी एक शैली में नहीं बँधी हैं, बल्कि हर कहानी का अलग और स्वतंत्र व्यक्तित्व नई भाषा, नई संरचना और आन्तरिक गतिशीलता के सहारे निर्मित किया गया है।
Jhonpadi Wale Aur Anya Kahaniyan
- Author Name:
Mihail Sadoveanu
- Book Type:

- Description: झोंपड़ी वाले और अन्य कहानियाँ में बीसवीं सदी के आरम्भ के रोमानियाई ग्रामीण जनजीवन का मार्मिक चित्रण हुआ है। इसमें यूरोप की उत्कट ग़रीबी और ग्रामीणों के भोले-भाले स्वभाव का वर्णन है। कल-कारख़ानों के आने से पहले साधारण मनुष्य का जीवन भले कठिन था लेकिन कितना कलुष-रहित, इसका सटीक अंकन इन कहानियों में है।
Chot
- Author Name:
Chandan Pandey
- Book Type:

-
Description:
चर्चित और सर्वप्रिय कथाकार चन्दन पाण्डेय की ये कहानियाँ बहुत तेज़ी से बदल रही इस दुनिया और उसके साथ ही बदल रहे मानवीय, पारिवारिक और सामाजिक सम्बन्धों के समीकरणों को बेहद निर्मम तटस्थता से उघाड़ती हैं। संग्रह की शीर्षक कथा ‘चोट’ में जो चोट है, वह अलग-अलग रूपों में संग्रह में शामिल सातों कहानियों में महसूस होती है। एक चोट है जो हममें से हर कोई या तो खा रहा है या किसी को दे रहा है।
‘चोट’ का अनिरुद्ध जिसने दफ़्तरी ऊब से ऊपर उठने और अपने तानाशाह-मिजाज़ अधिकारियों को चोट पहुँचाने का अपना एक खिलंदड़ा-सा तरीक़ा निकाला है, आख़िरकार अपने मक़सद में सफल तो होता है लेकिन नौकरी की क़ीमत पर। ‘दूब की वर्णमाला’ का नायक अपनी चोट के पीछे छिपकर ही गली के दबंगों से बचता है और अपने देनदारों से भी जो उसकी टाँग कटाकर ब्याज वसूलने की फ़िराक़ में थे।
‘गाँठ’ कहानी भी एक चोट पर ही ख़त्म होती है, जिसका लक्ष्य शहरी मध्यवर्ग की भीतरी जड़ता को तोड़ना है। ‘पितृपक्ष’ के जंगी पाण्डे की चोट तो शायद सबसे गहरी है। भारतीय समाज के जाति-समीकरणों में आए निर्णायक बदलाव को यह कहानी अत्यन्त कुशलता से चिन्हित करती है।
भाषा को नया करने और उसकी सम्प्रेषणीयता को वाक्य-दर-वाक्य विस्तृत करने की क्षमता चन्दन पाण्डेय की इन सभी कहानियों में बराबर दिखाई देती है। ‘शुभकामना का शव’ इस लिहाज से बेहद प्रभावशाली कहानी है; और अपनी विषय-वस्तु में इतनी भीषण कि आप सिहर उठते हैं।
‘वैधानिक गल्प’ और ‘कीर्तिगान’ जैसे उपन्यासों और कई असाधारण कहानियों से अपने कौशल का लोहा मनवा चुके चन्दन पाण्डेय का यह संग्रह निश्चय ही उनके पाठकों की उम्मीदों पर पूरा उतरेगा।
Bharatiya Shreshtha kahaniyan : Vols. 2
- Author Name:
Markandey
- Rating:
- Book Type:

- Description: प्रस्तुत पुस्तक भारतीय श्रेष्ठ कहानियाँ में उड़िया, कन्नड़, तेलगु, पंजाबी, मराठी और हिन्दी की चुनी हुई श्रेष्ठ साठ कहानियाँ संगृहीत हैं। भारत में भिन्न-भिन्न भाषाओं के बावजूद कहानी कला का विकास समानान्तर और समान्तर हुआ है जो सर्वथा स्वाभाविक है। भारत का इतिहास भूगोल संस्कृति और नियति जो एक है। इस संकलन में संगृहीत कोई भी कहानी किसी भी भाषा की कहानी हो सकती है, क्योंकि भाषा की वह बाद में, पहले वह भारतीय कहानी है। भारत की भिन्न-भिन्न भाषाओं में कहानी के विकास को पाठक सम्बद्ध भाषा की कहानियों के प्रारम्भ में उस विभाग के सम्पादक द्वारा प्रस्तुत सर्वेक्षण में देखेंगे। इस सर्वेक्षण में भिन्न-भिन्न भाषाओं के साहित्य में जिस साम्य की सहज प्रतीति होती है उससे इस विश्वास को बल मिलता है कि समग्र भारतीय-साहित्य की एक इकाई के रूप में, चाहे अलिखित, किन्तु बड़ी प्रौढ़ और अस्तित्वशील परम्परा है, जिससे सभी भाषाएँ अपने-अपने तौर पर प्रेरणाएँ और स्पंदन प्राप्त करती हैं। आवश्यकता है इस अदृश्य-परम्परा को आलेखित करने की, ताकि भाषाओं का यह परिवेश भिन्नता का पर्याय न बनकर विविधता का इन्द्रधनुषी रंग प्रत्यक्ष करे। आधुनिक-कहानी की शक्ति और महत्त्व इसमें है कि वह संघर्षमय जीवन के कठोर यथार्थ से सर्वांशतः सम्पृक्त है। आज का सारा ही साहित्य उत्तरोत्तर वस्तून्मुखी और यथार्थपरक होता जा रहा है। कविता का कथ्य तक, जो रमणीय-अर्थ और रसात्मक-अनुभूति के पोषण के लिए कल्पना की वायवी उड़ान में आश्रय का लक्ष्य खोजता था, आज यथार्थ की कठोर कंटकाकीर्ण भूमि पर संघर्ष में अपनी उपलब्धि खोज रहा है, यह संघर्ष चाहे भौतिक हो, मानसिक हो या आध्यात्मिक हो। इस दृष्टि से आज की कहानी काव्य का स्थान हड़पती जा रही है—लघु-गल्प कविता का और उपन्यास महाकाव्य का। यहाँ कहानी से ‘लघु-गल्प’ और ‘उपन्यास’ दोनों ही अभिप्रेत हैं। प्रस्तुत पुस्तक निःसंदेह पठनीय और संग्रहणीय है
Murdalok
- Author Name:
Kumar Mithilesh Prasad Singh
- Book Type:

-
Description:
परम्पराएँ, किंवदन्तियाँ और भ्रामक प्रचलित विचारों से मुक्ति दिलाकर समाज को जागरूक, चेतनासम्पन्न और प्रगतिशील धारा से जोड़नेवाला कहानी-संकलन। इस संकलन की हर कहानी की विषयवस्तु का अपना एक धरातल है और हर कहानी अनुभव का एक नया संसार खोलती है। संकलन की कहानियाँ नई दृष्टि, नई सोच को ही प्रतिष्ठापित नहीं करती हैं, बल्कि वैज्ञानिक दृष्टिकोण भी देती हैं। कहानियों के पात्र आम जीवन से उठाए गए हैं जो साधारण जीवन जीते हैं और बहुत से मानदंडों और निषेधों से मुक्त भी
हैं।लेखक ने इनके साथ सदियों से हो रहे जुल्म और अन्याय को भी रेखांकित किया है जो वे सदियों से झेल रहे हैं और उनके लिए एक समतामूलक समाज की आकांक्षा व्यक्त करते हैं। लेखक ने कहानियों को लोकभाषा से अलंकृत कर पात्रों को जीवन्त ही नहीं किया, बल्कि उनकी मर्मभेदी पीड़ा को संवेदनशील अभिव्यक्ति भी दी है। ये कहानियाँ सही और सच्चे अर्थों में साहित्य की उस सार्थक भूमिका का भी निर्वाह करती हैं जिसके तहत साहित्य को समाज का पथप्रदर्शक माना जाता है। समाज के यथार्थ से साक्षात्कार कराते हुए, वर्तमान समाज को बदलने का आह्वान करते हुए सघन संवेदना के धरातल पर सृजित की गई ये कहानियाँ कुरीतियों को पोषित करनेवाले रूढ़िवादी समाज के लिए एक संकेत भी हैं कि अब परिवर्तन आवश्यक नहीं अनिवार्य हो चला है। पाठकगण इन कहानियों के माध्यम से एक नया अर्थ-सन्दर्भ प्राप्त करेंगे।
Gupt Dhann : Vol. 1-2
- Author Name:
Amrit Rai
- Book Type:

- Description: Cyclopedia
Pattharbaaz
- Author Name:
Neerja Madhav
- Book Type:

- Description: 1947 में भारत की आज़ादी के बाद से ही आतंकवाद, अलगाववाद, कश्मीर समस्या, सीमा-तनाव, शरणार्थी समस्या आदि से जूझता हुआ भारत देश कैसे हमारे वीर सैनिकों के कारण सुरक्षित बना हुआ है, यह भारतीय जनता के लिए गौरव और आश्वस्ति का कारण है तो पूरे विश्व के लिये स्पृहा का। शायद ही विश्व के किसी देश के सैनिकों में यह अदम्य साहस और शौर्य हो, जो माइनस टेम्परेचर और कठिन जीवनचर्या के बीच अपने राष्ट्र के लिए सर्वोच्च बलिदान देने का ऊर्जस्वी भाव रखते हों। इस संग्रह की कुछ कहानियाँ सीधे-सीधे भारतीय सैनिकों के शौर्य और सहनशीलता दोनों से संवाद करती हैं तो कुछ कहानियाँ सामाजिक ताने-बाने को रूपायित करती है
Yutopiya
- Author Name:
Vandana Rag
- Book Type:

-
Description:
वन्दना राग अपने समय की ऐसी कथाकार हैं, जिन्हें किसी पूर्वग्रह समाहित ढाँचे में नहीं बाँधा जा सकता है। वे अपनी कथा-रचना की प्रक्रिया के दौरान ही सारे स्थापित ढाँचों का अतिक्रमण कर अपने लिए सर्वाधिक नया स्पेस बनाती चलती हैं। एक बिन्दास, खुले, यायावर समान। यही नयापन उनके विविध आयामी कृतित्व में उद्भासित होता है। उनके यहाँ थीम्स और पात्रों का सीमा-बन्धन नहीं है। वहाँ स्त्री, पुरुष, दलित, पिछड़े, अल्पसंख्यक और वंचित सभी हैं और वे सभी अपने संश्लिष्ट और मनुष्यगत स्वरूपों में हैं। वे अपनी अच्छाइयों और बुराइयों समेत अपने समय से मुठभेड़ करते हैं। उनकी चिन्ताओं में अतीत के शेष प्रश्न और भविष्य के विज़न शामिल हैं। इस तरह वन्दना राग लगातार अपने समय का क्रिटीक रचती हैं। उनकी सर्वाधिक चर्चित कहानी ‘यूटोपिया’ साम्प्रदायिकता जैसे नाज़ुक विषय को एक नए अन्दाज़ में उठाती है। रोमान से हटकर यह कहानी साम्प्रदायिकता बोध और साम्प्रदायिक अस्मिताओं के संघर्ष की उस कठोर स्थापना को रेखांकित करती है, जिसके आगे प्रेम, मनुष्यता अथवा अन्य कोमल भावनाओं के लिए कोई स्थान बचा नहीं रह जाता। यह हमारे समय की सबसे बड़ी त्रासदी है।
इसी प्रकार कहानी ‘कबिरा खड़ा बज़ार में’ और ‘शहादत और अतिक्रमण’ स्त्री की पहचान तथा स्त्री की शारीरिक, मानसिक तथा आत्मिक स्वाधीनता के मार्ग को तलाशनेवाले संघर्षों की कहानियाँ हैं। अपनी कहानियों में वन्दना अनेक बार उन विषयों को भी उठाती हैं, जिन्हें समाज चुप कर देता है। उन चुप, कुंठित, वैचारिक, सामाजिक तथा अवश मानसिक स्थितियों को वे शब्द देती हैं। ‘नमक’, ‘छाया युद्ध’, ‘टोली’ तथा ‘नक़्शा और इबारत’ इस तरह की प्रामाणिक कहानियाँ हैं।
वन्दना का नज़रिया सूक्ष्म अन्तर्दृष्टि वाला है। उनमें हाज़िर-जवाबी और व्यंग्य वाला हास्यबोध है और भावनाओं की अतल गहराई को छूनेवाला कौशल भी। मगर सबसे बड़ी बात यह है कि वे एक धुनी क़िस्सागो हैं। उनकी भाषा चुस्त और सधी हुई है और उसमें विचारों का प्रवाह रवानगी भरा है।
आज के इस हाय-तौबा वाले युग में उनकी कहानियाँ समय की विडम्बनाओं का साहसी प्रतिमान रचती हैं। इसीलिए हमें उन्हें और भी गम्भीरता से देखने की ज़रूरत है।
Encouragement Short Stories (Volume-1)
- Author Name:
Dr.Sanjay Rout
- Book Type:

- Description: Introducing "Encouragement Short Stories (Volume-1)", an uplifting collection of inspiring tales that will motivate and empower readers to overcome life's challenges. Compiled by bestselling author, Dr.Sanjay Rout, this book features a carefully curated selection of heartwarming stories that celebrate the power of resilience and determination. From tales of triumph over adversity to accounts of everyday heroes, these stories will leave readers feeling inspired and empowered to pursue their dreams. In this book, you'll discover: Real-life stories of individuals who overcame obstacles to achieve their goals Encouraging tales of perseverance and hope in the face of adversity Heartwarming stories of ordinary people who made a difference in the world Through these tales of triumph and courage, "Encouragement Short Stories (Volume-1)" is a powerful reminder that anything is possible when we believe in ourselves and our ability to succeed. Whether you are facing a personal challenge or simply in need of a dose of inspiration, this book is the perfect companion to lift your spirits and help you stay motivated on your journey towards success. Get your copy today and discover the transformative power of encouragement!
Kavita Ka Ganit
- Author Name:
Prakash Thapliyal
- Book Type:

-
Description:
‘कविता का गणित’ प्रकाश थपलियाल का दूसरा कहानी-संग्रह है। इसमें जहाँ कई वाकयों को कथाकार नये नजरिये के साथ पेश करता है वहीं उनका व्यंग्य भी पाठक को अन्दर तक उद्वेलित करता है। जीविका और श्रद्धा के बीच का द्वन्द्व ‘लाल सलाम’ जैसी कहानियों में खुलकर उभरता है तो ‘बोरी’ और ‘मजमा’ जैसी कहानियों में राजनीति और बाजार की सीढ़ियों से ऊपर चढ़ते पात्र दिखाई देते हैं। ‘कीड़ा-जड़ी की खोज में’ कहानी कथाकार की किस्सागोई की अपनी ही तकनीक और बुनावट सामने लाती है। कुल मिलाकर इस कथा-संग्रह में हर कहानी का अपना ही सलीका और रंग है।
‘गाली’ कहानी को पढ़कर पाठक सोचने को मजबूर हो जाता है कि ऐसा क्यों है कि गाली हमेशा औरत को केन्द्र में रखकर ही दी जाती है। ‘लाल सलाम’ कहानी विचार को श्रेष्ठतम और अक्षुण्ण बताने वालों से सवाल करती है तो ‘भगवान इनसान’ में लेखक भगवान और इनसान के बीच का फर्क आसानी से सामने रख जाता है।
‘मजमा’ पैसे की ताकत की तरफ इंगित करती है और बताती है कि बाजार में कीमती वह चीज नहीं है जो ज्यादा काम की है बल्कि वह है जिसे ज्यादा काम की बताया जाता है। मुकाबला इसमें है कि बताने के इस फन में कौन कितना माहिर है।
थपलियाल का कहानी कहने का भी अपना भिन्न तरीका है जिसमें वे जब-तब प्रयोग करते दिखाई देते हैं। अपनी कहानियों के बारे में स्वयं उनकी धारणा है कि हिन्दी मुख्यधारा में पर्वतीय परिवेश के शब्दों की बहुत कमी है और पर्वतीय बोली-भाषा से अधिक से अधिक संवाद द्वारा यह कमी दूर की जा सकती है। इन कहानियों में उन्होंने यह संवाद बनाने की भी कोशिश की है। वे घटनाधर्मिता को कहानी की आत्मा मानते हैं और उनकी कहानियों की पठनीयता इसी घटनाधर्मिता से बनती है जिसे वे बिना हिंसा और मार-धाड़ के, मासूमियत से निभा जाते हैं और पाठक को नई दिशा में सोचने को प्रेरित करते हैं।
Vairagya
- Author Name:
Geetanjali Shree
- Book Type:

- Description: नई व पुरानी कहानियों का यह संकलन गीतांजलि श्री की लगभग एक दशक की साहित्यिक यात्रा का परिचय देता है। इसमें वैविध्य है विषय का, अन्दाज़ का। प्रयोग है शिल्प का, भाषा का। और हमेशा ही एक सृजनात्मक साहस है कि यथातथ्यता—‘लिटरैलिटी’—को लाँघते हुए पथ, दृश्य, अनुभव, ज़मीन तलाशें। अलग-अलग बिन्दुओं की टोह लेने की लालसा में नतीजा फटाफट समझाने की कोई हड़बड़ी नहीं। कहीं हमारी जटिल आधुनिकता के आयाम हैं, कहीं मानव-सम्बन्धों की अनुभूतियाँ। कहानियाँ हमारे शाश्वत मुद्दों पर भी हैं—मृत्युबोध, जीवन की आस, आत्मीयता की चाह-पर ताज़ी संवेदना से भरपूर। कभी ‘नज़र’ में हास्य है, कभी फ़लसफ़ाना दुःख। भाषा की ध्वनियाँ ऐसी हैं कि शायद बहुतों को यहाँ कविता का रस भी मिलेगा। साहित्य-प्रेमियों के लिए एक सार्थक प्रयास।
Naye Daur Ki Prerak Kahaniyan
- Author Name:
Jps Jolly
- Book Type:

- Description: आज की इस प्रतिस्पर्धात्मक जिंदगी में स्वयं को जमाने से आगे रखने के लिए ज्ञान के साथ-साथ मानसिक बदलाव की भी आवशकता होती है। जो व्यक्ति ऐसा नहीं कर पाते, वो हर क्षेत्र में धीरे-धीरे पिछड़ने लगते हैं। ऐसे में प्रश्न यह उठता है कि जीवन में उत्साह बढ़ाने और जीत हासिल करने के लिए अपनी कार्यशैली में किस प्रकार से परिवर्तन लाया जाए, असल में हमारी जिंदगी की चाल भी नदी की तरह होती है। उसे भी कभी सीधा, कभी टेढ़ा, कभी ऊपर और कभी नीचे गिरना पड़ता है। इसी बात को ध्यान में रखते हुए इस पुस्तक में नए दौर की प्रेरक, ज्ञानवर्धक और मनोरंजक कहानियों का एक ऐसा सग्रंह तैयार किया गया है, जिससे आपको शानदार पैगाम मिलेंगे। साथ ही बदलाव की रौशन लौ आपके हौसलों को बुलंद करने के साथ लक्ष्य प्राप्ति में सहायक होगी। जैसे ही आप इस पुस्तक की कुछ कहानियाँ पढ़ना शुरू करेंगे आप को कुछ ही दिनों में यह अनुभव होने लगेगा कि आपके जीवन में जादुई करिश्मे होने लगे हैं। इतना सा प्रयोग करते ही आपको यह अनुभूति होने लगेगी कि आपके पास वो हुनर आ गया है, जिससे आप हर वो कार्य भी आसानी से कर सकते हैं, जो कल तक असभंव लगते थे। जौली अंकल द्वारा लिखी हुई नए दौर की प्रेरक कहानियों को करीब से समझते ही एक ओर जहाँ आपका हर ख्वाब हकीकत बनने लगेगा, वहीं आपका सारा जीवन उत्साह, उमंग और तरंग से भर जाएगा।
Vey Bahattar Ghante
- Author Name:
Rajesh Maheshwari
- Book Type:

-
Description:
राजेश माहेश्वरी की कहानियाँ अपनी बनावट में जितनी भिन्न हैं, उतना ही इन कहानियों का रसास्वादन भिन्न है। संग्रह के नाम को सार्थक करनेवाली कहानी ‘वे बहत्तर घंटे’ मानवीय करुणा और त्याग की भावना से ओतप्रोत है। कहानी में गुजरात में आए भयंकर अकाल का चित्रण मार्मिक है। ऐसी कठिन परिस्थिति में गौ-रक्षा के लिए वहाँ के लोगों की तत्परता न केवल सराहनीय है, बल्कि दिल को छू लेनेवाली है। वहीं 'माँ' कहानी उन लोगों के लिए प्रेरणास्रोत है जो अनाथ बच्चों के लिए कुछ करना चाहते हैं। कहानी ‘मित्रता’ हमेशा से चली आ रही हिन्दू-मुस्लिम एकता की मिसाल को कुछ नए ही तरह से पुन: क़ायम करती है। राजस्थान के परिवेश में बुनी गई कहानी ‘पनघट’ हमारे समाज की घृणित कर देनीवाली सच्चाई को बिना किसी लाग-लपेट के सीधे शब्दों में प्रस्तुत करती है। अन्य कहानियाँ अपनी सरलता लिए पाठकों तक अपनी बात पहुँचाने में सक्षम हैं।
संकलन की ये छोटी-छोटी कहानियाँ बाग़ के उन छोटे-छोटे फूलों की तरह हैं जो खिलकर बागान को ख़ुशनुमा बना देते हैं और देर तक जिनकी ख़ुशबुएँ हमें तरो-ताज़ा करती रहती हैं।
Deh Dard Aur Dil
- Author Name:
Vibha Rani
- Book Type:

- Description: This book has no description
Customer Reviews
0 out of 5
Book
Be the first to write a review...