Ramkatha Aaram
Author:
Dr. Viveki RaiPublisher:
Prabhat PrakashanLanguage:
HindiCategory:
Other0 Reviews
Price: ₹ 280
₹
350
Available
Awating description for this book
ISBN: 9789386870421
Pages: 168
Avg Reading Time: 6 hrs
Age : 18+
Country of Origin: India
Recommended For You
Jas Dekha Tas Lekha
- Author Name:
Yogendra
- Book Type:

- Description: MemoriesEducational System
Main J. Krishnamurti Bol Raha Hoon
- Author Name:
Ed. Rajasvi
- Book Type:

- Description: "जिद्दू कृष्णमूर्ति का नाम आध्यात्मिक जगत् में विशेष रूप से उल्लेखनीय है। जब वे मात्र तेरह वर्ष के थे, तभी उनमें एक आध्यात्मिक गुरु होने की विशिष्टताएँ दृष्टिगोचर होने लगी थीं। उन्होंने न केवल भारत में, बल्कि विदेशों में भी आध्यात्मिकता का परचम लहराया। जे. कृष्णमूर्ति के विचार केवल आध्यात्मिक ही नहीं, बल्कि भौतिक दृष्टि से अत्यंत महवपूर्ण हैं, जो जाति, धर्म और संप्रदाय में उलझे, असमंजस में फँसे और दिग्भ्रमित हुए लोगों का यथोचित मार्गदर्शन करते प्रतीत होते हैं। उन्होंने मानव-जीवन के लगभग सभी पहलुओं को अपनी विचारशीलता के दायरे में लाने का सफल प्रयास किया है। किंचित् मात्र भी ऐसा नहीं लगता कि जीवन की कोई भी जटिल वीथि उनकी दृष्टि से ओझल हो गई हो। उनके जीवन का परम लक्ष्य विश्व को शांति, संतुष्टि और संपूर्णता प्रदान करना था, ताकि ईर्ष्या, द्वेष और स्वार्थ का समूल नाश किया जा सके। वे अपने जीवन-लक्ष्य में काफी हद तक सफल रहे। जो भी उनके संपर्क में आया, मानो उनका ही होकर रह गया। उनकी प्रेरक वाणी के कुछ रत्न इस पुस्तक में संकलित हैं।
Fijeedvip Mein Mere 21 Varsh
- Author Name:
Totaram Sanadhya
- Book Type:

- Description: ब्रिटिशकालीन भारतीय पराधीनता का एक त्रासद अध्याय है गिरमिटिया। गिरमिटिया यानी एग्रीमेंट के तहत देश के बाहर कुलीगीरी करने के लिए जबरन भेजा जाना। भूख, बेरोजगारी, उत्पीड़न या गृह कलह के चलते घर-परिवार छोड़नेवाले स्त्री-पुरुषों की मजबूरी का फायदा उठाकर उन्हें झाँसा देकर अज्ञात देश में भेज देना। सन् 1879 से लेकर सन् 1916 तक 60553 भारतीय ‘गिरमिटिया’ बनाकर फिजीद्वीप भेजे जा चुके थे। इन अभिशप्त भारतीयों के शापमोचन के लिए जो लोग आगे आये उनमें एक नाम था पण्डित तोताराम सनाढ्य का। कौन थे ये तोतारामजी? क्या रिश्ता बनता था उनका फिजी से और गिरमिटिया भारतीयों से? परदुखकातर एक सामान्य भारतीय जिन्होंने खुद इक्कीस वर्षों तक गिरमिटिया की यातना-भरी जिन्दगी जी; मुक्ति संघर्ष का आगाज किया। यूँ तो ‘गिरमिटिया’ प्रथा पर प्रेमचन्द और प्रसाद समेत कई दिग्गजों ने लिखा है पर स्वयं का भोगा हुआ सच सिर्फ और सिर्फ तोताराम सनाढ्य का ही है। इतिहास के अध्येताओं से लेकर आम पाठकों तक के लिए जानकारियों से भरी एक रोचक और जरूरी किताब!
You Too Can Crack UPSC CSE
- Author Name:
Naveen Kumar Chandra, Ias
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
15 Practice Sets for REET Rajasthan Adhyapak Patrata Pariksha Level 2 (Class6 to 8) Samajik Adhyayan Exam 2022
- Author Name:
Kunwar Kanak Singh Rao
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Shivprasad Singh Ki Lokpriya Kahaniyan
- Author Name:
Shivprasad Singh
- Book Type:

- Description: नई कहानी आंदोलन के समय में डॉ. शिवप्रसाद सिंह की चर्चा ‘नन्हों’ और ‘दादी माँ’ जैसी कहानियों के कारण हुई। कहानियों से उन्हें भरपूर प्रतिष्ठा मिली। इन दोनों कहानियों के साथ ही ‘धरातल’ और ‘बेहया’, ‘कर्मनाशा की हार’, ‘मुर्दासराय’, ‘आर-पार की माला’, ‘इन्हें भी इंतजार है’, ‘वृंदा महाराज’ आदि कहानियाँ भी काफी चर्चित हुईं। डॉ. शिवप्रसाद सिंहजी की कहानियाँ प्रायः ग्रामीण पृष्ठभूमि पर आधारित हैं। उन्होंने लिखा भी है— ‘‘मेरी जिंदगी में गाँव एक ऐसी हकीकत है, जिसे मैं चाहकर भी काट नहीं सकता। गाँव की अछोर हरियाली में डूबे सीमांत, फसलों के रंग-बिरंगे गलीचे बिछाकर किसी अनागत की प्रतीक्षा में डूबी धरती, सरसों, जलकुंभी और झरबेरी के जंगली फूलों से मदहोश वातावरण के बीच अपनी सामान्य जिंदगी के लिए संघर्षरत किसान मेरी कहानियों के अविभाज्य अंग हैं। शहर के जीवन ने जहाँ एक ओर मेरे आधुनिकता-बोध को निरंतर तीन और सक्रिय बनाया है, वहीं गाँव के जीवन की धड़कनें, जो अब भी सड़ी-गली परंपरा और कूटस्थ रूढि़यों का कचरा ढोती हुई कराह रही हैं, मेरे कहानीकार के लिए सदा एक चुनौती रही हैं।’’ वरिष्ठ कथाकार डॉ. शिवप्रसाद सिंह की संवेदनशील, मार्मिक तथा युग-प्रर्वतक लोकप्रिय कहानियों का पठनीय संकलन।
Vrat-Upvas Ke Dharmik Aur Vaigyanik Adhar
- Author Name:
Shashikant Sadaiv
- Book Type:

- Description: "भले ही व्रत-उपवास का वास्तविक अर्थ कुछ भी हो, लेकिन ये जनमानस में धर्म, आस्था एवं श्रद्धा का प्रतीक हैं। कुछ लोग इसे धर्म के साथ जोड़कर देखते हैं तो कुछ ज्योतिषीय उपायों की तरह लेते हैं। स्वास्थ्य की दृष्टि से इनके अलग लाभ हैं तो मनोविज्ञान की दृष्टि से इनका अपना महत्त्व है। शायद यही कारण है कि व्रत-उपवास का चलन सदियों नहीं, युगों पुराना है। एक तरफ हिंदू शास्त्र व्रत-उपवास जैसे धार्मिक कर्मकांडों की पैरवी करते नजर आते हैं तो दूसरी ओर खुद ही इसी बात पर जोर देते हैं कि भूखे भजन न होय गोपाला, अर्थात् भूखे पेट तो भगवान् का भजन भी नहीं हो पाता। व्रत-उपवास हमारे आत्मिक बल और स्व-नियंत्रण को बढ़ाते हैं; इंद्रियों को वश में रखने की शक्ति देते हैं। कुछ लोग व्रत-उपवास श्रद्धा से रखते हैं तो कुछ लोग भय से, कुछ लोग शारीरिक स्वास्थ्य के लिए रखते हैं तो कुछ लोग मानसिक शांति के लिए। कारण भले ही कोई हो, लेकिन लोगों के जीवन में व्रत-उपवास का विशेष स्थान है। यह पुस्तक व्रत-उपवासों की महत्ता और उनकी वैज्ञानिकता प्रस्तुत करती है।"
Baithe-Thale Ki Jugaliyan
- Author Name:
Hetu Bharadwaj
- Book Type:

- Description: Hindi Memoires
UNDOUBTEDLY NISHANK : A Literary Reading
- Author Name:
Gopal Sharma
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Ancient Buddhist Wisdom for A Peaceful & Happy Life by Naveen Kumar Chandra IAS
- Author Name:
Naveen Kumar Chandra (IAS)
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Krishna Janmabhoomi
- Author Name:
Mahek Maheshwari
- Book Type:

- Description: The sole intention of the outcome of the book is do provide clearer view with regard to the position of the Krishna Janmasthan and Shahi Idgah Mosque. I have written this book so that Readers may arrive at a conclusion themselves with regard to status quo of the disputed site whether it is a Temple or a Mosque. The book encompasses vividly the historical facts with regard to Krishna Janmabhoomi and Shahi Idgah mosque, legal position what is and what should be. It’s not only about the historical facts but then also about the Islamic law, Hindu Dharmshastras, culture & practices and above all a broader picture in the light of the Constitution of India. Efforts have been made to keep this book as a complete package of historical, philosophical and legal treatise with a flow and language that even the layman could assimilate it.
Khatre Alpsankhyakwad Ke
- Author Name:
Muzaffar Hussain
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Prema
- Author Name:
Premchand
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
BPSC TRE 4.0 Bihar Shikshak Bahali Class 11 To 12 History (Itihas) Higher Secondary School Teacher | 20 Practice Sets with Latest Solved Papers | Based on NCERT & SCERT Syllabus - Book in Hindi
- Author Name:
Dr. Ranjit Kumar Singh, IAS (AIR-49)
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Ladke Rotey Nahin "लड़के रोते नहीं" Boys Don't Cry Book in Hindi | Nidhi Kaushik
- Author Name:
Nidhi Kaushik
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Talkies : Cinema Ka Safar-2
- Author Name:
Jagran Film Festival
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Raman Maharshi
- Author Name:
Anita Gaur
- Book Type:

- Description: "साधना में अभिरुचि रखनेवालों के लिए श्री रमण महर्षि का नाम जाना-पहचाना है। भारत के आध्यात्मिक क्षितिज पर पिछले कुछ वर्षों में जिन नक्षत्रों का उदय हुआ है, उनमें श्री रमण महर्षि का नाम विशेष उल्लेखनीय है। उन्होंने अपने जीवन तथा कार्यों से भारत का नाम आलोकित किया है। भारत के अलावा पश्चिम के कई देशों में अपना उजाला फैलाकर रमण महर्षि ने देश को गौरवान्वित किया है तथा मानव-जाति की बहुमूल्य सेवा की है। 30 दिसंबर, 1879 को सोमवार के दिन आधी रात के लगभग एक घंटे बाद एक जाने-माने प्राचीन ब्राह्मण कुल में जन्म हुआ उस अद्भुत बालक का, जिसे बाद में पूरी दुनिया ने भगवान् श्री रमण महर्षि के नाम से जाना। उन्होंने साधारण जनों को रास्ता बताया कि मानव को उसके दैनिक कार्यों को करते हुए किस प्रकार उस परम तत्त्व की वंदना करनी है, कैसे आत्मा की शुद्धि करके जन्म-मरण के चक्करों से पार पाना है। यदि हम अपने दायित्वों का निर्वाह ही नहीं कर सकते तो हमें इस पृथ्वी पर मानव बनकर रहने का क्या अधिकार है! इस जगत् में ज्ञान की वास्तविक परिभाषा, जीवन की गहराइयाँ महर्षि रमण जैसे ज्ञानी पुरुषों ने ही हमें समझाई है। आध्यात्मिकता के मार्ग का दिग्दर्शन करनेवाले श्री रमण महर्षि की प्रेरणाप्रद जीवनगाथा।
Mahaparakram (Hindi Translation Of 1971—Stories Of Grit And Glory): महापराक्रम (1971 के भारत-पाक युद्ध की साहसिक कहानियाँ) Book
- Author Name:
Ian Cardozo
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
1971 Bharat Pak Yuddha | 161 Infantry Brigade Saga of Bravery | Glory From The Indo-Pak War Indian Army Book in Hindi
- Author Name:
Lt Gen K K Nanda
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
KASMAI DEVAYA
- Author Name:
Arun Mishra
- Book Type:

- Description: Awating description for this book
Customer Reviews
0 out of 5
Book
Hurry! Limited-Time Coupon Code
Logout to Rachnaye
Offers
Best Deal
Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit, sed do eiusmod tempor incididunt ut labore et dolore magna aliqua
Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit, sed do eiusmod tempor incididunt ut labore et dolore magna aliqua. Ut enim ad minim veniam, quis nostrud exercitation ullamco laboris nisi ut aliquip ex ea commodo consequat.
Enter OTP
OTP sent on
OTP expires in 02:00 Resend OTP
Awesome.
You are ready to proceed
Hello,
Complete Your Profile on The App For a Seamless Journey.