32000 Saal Pahale
Author:
Ratneshwar Kumar SinghPublisher:
Prabhat PrakashanLanguage:
HindiCategory:
Academics-and-references0 Reviews
Price: ₹ 240
₹
300
Available
हाल के दिनों में गल्फ ऑफ खंभात (गुजरात) की गहराइयों में बत्तीस हजार साल पुराने हिमयुग में नगर होने के साक्ष्य मिले हैं। संसार में अबतक मिली नगरीय सभ्यताओं में यह सबसे पुराना नगर होने का अनुमान है। वैज्ञानिकों-पुरातत्त्ववेत्ताओं के नवीन शोध और खोज को केंद्र में रखकर महायुग उपन्यास-त्रयी लिखा गया है। '32000 साल पहले तीन उपन्यासों की शृंखला का पहला उपन्यास है।
उन दिनों संसार में सांस्कृतिक विकास के साथ कई नवीन प्रयोग हुए। संसार में पहली बार देह ढकने से लेकर, तेल का दीया जलाने, दूध का सेवन करने, बाँसुरी बजाने, नृत्य करने, गीत गाने, कथा वाचन आदि शुरू हुए। इन्हीं लोगों ने पहली बार नौका, हिमवाहन और चक्के के साथ विविध अस्त्रों का निर्माण किया। पहली बार मनुष्य के ओठों ने खाने और बोलने के आलावा प्रेम करना सीखा। खुले सेक्स की अवधारणा के साथ पहले परिवार की परिकल्पना भी शुरू हुई। कुछ अज्ञात-प्राकृतिक संघर्ष के कारण वहाँ प्रार्थना की शुरुआत हुई।
परग्रहियों ने होमो सेपियंस के डी.एन.ए. का पुनर्लेखन किया। कुछ वैज्ञानिकों और पुरातत्त्ववेत्ताओं ने समुद्र की गहराइयों से जीरो पॉइंट फील्ड में संरक्षित ध्वनियों को संगृहीत कर उसे फिल्टर किया। कड़ी मेहनत के बाद उनकी भाषा को डिकोड किया गया और उसे इंडस अल्ट्रा कंप्यूटर पर चित्रित किया गया। उनकी आवाजों से ही बत्तीस हजार साल पहले की पूरी कहानी सामने आई।
ISBN: 9789355213327
Pages: 192
Avg Reading Time: 6 hrs
Age: 18+
Country of Origin: India
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